Sponsor Area

सिल्वर वैडिंग

Question
CBSEENHN12026761

‘सिल्वर वैडिंग’ में यशोधर बाबू एक ओर जहाँ बच्चों की तरक्की से खुश होते हैं, वहीं कुछ ‘समहाउ इंप्रॉपर’ भी अनुभव करते हैं। ऐसा क्यों?

Solution

यशोधर बाबू को पुत्र-पुत्रियों का तरक्की करना और आधुनिक जीवन-शैली को अपनाना बुरा नहीं लगता। वे बच्चों की तरक्की से खुश होते हैं। क्योंकि बच्चे प्रगति करके उनका नाम रोशन कर रहे हैं। इसके बावजूद वे कुछ ‘समहाउ इंप्रॉपर’ भी अनुभव करते हैं। जो बात उन्हें भारतीय परंपरा के अनुरूप नहीं लगती उसे वह ‘समहाउ इंप्रॉपर’ कहते हैं। बच्चों के मन में पिता के प्रति उपेक्षा और तिरस्कार का भाव है। बच्चों की कार्यप्रणाली को इंप्रॉपर कहते हैं। बच्चों की वेशभूषा उन्हें ‘समहाउ इंप्रॉपर’ लगती है। बेटी द्वारा शादी का स्वयं निर्णय लेने को वह इंप्रॉपर कहते हैं। असल में वह नवीनता और पुरातनता के बीच झूलते रहते हैं।

Some More Questions From सिल्वर वैडिंग Chapter

कहानी के आधार पर यशोधर पंत के व्यक्तित्व की विशेषताएँ संक्षेप में स्पष्ट कीजिए।

कहानी के आधार पर सिद्ध कीजिए कि यशोधर जी की पत्नी समय के साथ बल सकने में सफल हो गयी है।

कहानी के आधार पर सिद्ध कीजिए कि यशोधर बाबू का व्यक्तित्व किशनदा के पूर्ण प्रभाव में विकसित हुआ था। अथवा

‘यशोधर बाबू का व्यक्तित्व किशनदा की प्रतिच्छाया है’ इस कथन से आप कहाँ तक सहमत हैं? तार्किक उत्तर दीजिए।

किशनदा का बुढ़ापा सुखी क्यों नहीं रहा था?

यशोधर बाबू अपनी संतानों से असंतुष्ट क्यों रहते थे और वे उनसे क्या चाहते थे?

‘आजकल पारिवारिक संबंधों’ में धन अधिक महत्त्वपूर्ण है’- कहानी के आधार पर स्पष्ट कीजिए।

‘सिल्वर वैडिंग’ कहानी के कथ्य का विश्लेषण कीजिए।

चड्ढा यशोधर बाबू से क्या दुर्व्यवहार करता है?

यशोधर के स्वभाव कों सिल्वर वैडिंग’ पाठ के आधार पर बताइए।

अथवा

सिल्वर वैडिंग कहानी के आधार पर यशोधर बाबू के स्वभाव की किन्हीं तीन विशेषताओं पर प्रकाश डालिए।

यशोधर बाबू समय के साथ चल सकने में असफल रहते हैं। ऐसा क्यों?

अथवा

‘सिल्वर वेडिंग’ कहानी के आधार पर बताइए कि यशोधर बाबू समय के अनुसार क्यों नहीं चल सके।