ला-कार्बूजिए और मोहन- जोदड़ो के बीच किस संयोग के बारे में लेखक बताता है?
मोहन-जोदड़ो की सबसे चौड़ी और मुख्य सड़क के दोनों ओर घर हैं। सड़क की ओर घरों की सिर्फ पीठ दिखाई देती है यानि कोई घर सड़क पर नहीं खुलता है। उनके दरवाजे अंदर गलियों में हैं। लेखक उससे जुड़े दिलचस्प संयोग को बताता है। वह कहता है कि ला-काबूर्जिए ने पचास साल पहले चंडीगढ़ में ठीक यही शैली अपनायी है। वहाँ भी कोई घर मुख्य सड़क पर नहीं खुलता। लेखक इसे ही संयोग कहता है। वह इसे मानवीय चेतना का ही विकास कहता है।