Sponsor Area

रजनी

Question
CBSEENHN11012091

निम्नलिखित काव्यांश को पढ़कर पूछे गए प्रश्नों के उत्तर दीजिए:
कैसी बात करती हो? मैं एक बार काट भी हूँ लेकिन अमित! अपने मुँह में डालने से पहले रसमलाई लेकर तुम्हारे फ्लैट में दौड़ता है। मैं कोई भी चीज घर में बनाऊँ या बाहर से लाऊँ, अमित जब तक तुम्हारे भोग नहीं लगा लेता, हम लोग खा थोड़े ही सकते हैं। रजनी आँटी तो हीरो हैं उसकी। 
1. यह संवाद कौन, किसको कह रहा है?
2. संवाद का पूर्व प्रसगं बताइए।
3. अमित आंटी को क्या समझता है?>

Solution

1. यह संवाद अमित की माँ लीला का है। यह बात वह पड़ोसन रजनी से कह रही है।
2. इस संवाद का प्रसंग यह है कि अमित अपना रिजल्ट लेने स्कूल गया है। उसके पास होने की खुशी में रसमलाई मँगाई गई है। अभी अमित परीक्षाफल लेकर आया नहीं है। उसके आने पर ही पास होने पर मिठाई खिलाई जाएगी। यहाँ वही चर्चा चल रही है।
3. अमित आंटी को हीरो समझता है। वह मिठाई लेकर पहले टी रजनी के फ्लैट की ओर भागता है, फिर घर के लोग खा सकते हैं। अमित टी को खिलाए बिना स्वयं भी नहीं खाता।

Some More Questions From रजनी Chapter

निम्नलिखित काव्यांश को पढ़कर पूछे गए प्रश्नों के उत्तर दीजिए:
देखो, तुम मुझे फिर गुस्सा दिला रहे हो रवि.....गलती करने वाला तो है ही गुनहगार, पर उसे बर्दाश्त करने वाला भी कम गुनहगार नहीं होता, जैसे लीला बेन और कांति भाई और हजारों-हजारों माँ-बाप। लेकिन सबसे बड़ा गुनहगार तो वह है जो चारों तरफ अन्याय, अत्याचार और तरह-तरह की धांधलियों को देखकर भी चुप बैठा रहता है, जैसे तुम। हमें क्या करना है, हमने कोई ठेका ले रखा तै दुनिया का। माई फुट, तुम जैसे लोगों के कारण ही तो इस देश में कुछ नहीं होता, हो भी नहीं सकता।
1. यह कथन किसका है और किसे कहा जा रहा है? प्रसगं बताइए।
2. वक्ता क्या बात समझाने का प्रयास कर रही है?.
3. वक्ता श्रोता पर क्या व्यंग्य करती है?

निम्नलिखित काव्यांश को पढ़कर पूछे गए प्रश्नों के उत्तर दीजिए:
कैसी बात करती हो? मैं एक बार काट भी हूँ लेकिन अमित! अपने मुँह में डालने से पहले रसमलाई लेकर तुम्हारे फ्लैट में दौड़ता है। मैं कोई भी चीज घर में बनाऊँ या बाहर से लाऊँ, अमित जब तक तुम्हारे भोग नहीं लगा लेता, हम लोग खा थोड़े ही सकते हैं। रजनी आँटी तो हीरो हैं उसकी। 
1. यह संवाद कौन, किसको कह रहा है?
2. संवाद का पूर्व प्रसगं बताइए।
3. अमित आंटी को क्या समझता है?>

रजनी ने अमित के मुद्दे को गंभीरता से लिया, क्योंकि -

जब किसी का बच्चा कमजोर होता है, तभी उसके मां-बाप ट्यूशन लगवाते हैं। अगर लगे कि कोई टीचर लूट रहा है, तो उस टीचर से न ले ट्यूशन, किसी और के पास चले जाएँ...यह कोई मजबूरी तो है नहीं-प्रसंग का उल्लेख करते हुए बताएँ कि यह संवाद आपको किस सीमा तक सही या गलत लगता है तर्क दीजिए।

तो एक और आदोलन का मसला मिल गया - फुसफुसाकर कही गई यह बात-

(क) किसने किस प्रसंग में कही?

(ख) इससे कहने वाले की किस मानसिकता का पता चलता है।

‘रजनी’ धारावाहिक की इस कड़ी की मुख्य समस्या क्या है? क्या होता अगर-

(क) अमित का पर्चा सचमुच खराब होता।

(ख) संपादक रजनी का साथ न देता।

गलती करने वाला तो है ही गुनहगार, पर उसे बर्दाश्त करने वाला भी कम गुनहगार नहीं होता-इस संवाद के संदर्भ में आप सबसे ज्यादा किसे और क्यों गुनहगार मानते हैं?

स्त्री के चरित्र की बनी बनाई धारणा से रजनी का चेहरा किन मायनों में अलग है?

पाठ के अंत में मीटिंग के स्थान का विवरण कोष्ठक में दिया गया है। यदि इसी दृश्य को फिल्माया जाए तो आप कौन-कौन से निर्देश देंगे?

इस पटकथा में दृश्य-संख्या का उल्लेख नहीं है। मगर गिनती करें तो सात दृश्य हैं। आप किस आधार पर इन दृश्यों को अलग करेंगे?