Question
बच्चे की दंतुरित मुसकान का कवि के मन पर क्या प्रभाव पढ़ता है?
Solution
बच्चे की दंतुरित मुसकान का कवि के मन पर गहरा प्रभाव पड़ा था। वह उसके सुंदर और मोहक मुख पर छाई मनोहारी मुसकान से प्रसन्नता में भर उठा था। उसे ऐसा लगा था कि वह धूल-धूसरित चेहरा किसी तालाब में खिले सुंदर कमल के फूल के समान था जो उसकी झोपड़ी में आ गया था। कवि उसे एकटक देखता ही रह गया था। उसकी मुसकान ने उसे अपनी पत्नी के प्रति कृतज्ञता प्रकट कर देने के लिए विवश-सा कर दिया था।