नागार्जुन - यह दंतुरित मुसकान
कवि ने अपने नन्हें से बच्चे की मधुर मुसकान के आकर्षण का सहज सुंदर वर्णन किया है और अपनी पत्नी की कर्त्तव्यनिष्ठा का उल्लेख किया है। जिस ने उस की अनुपस्थिति में अपने पुत्र का प्रेमपूर्वक पालन-पोषण किया था।
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कवि ने फसल को हजार-हजार खेतों की मिट्टी का गुण-धर्म कहा है-
मिट्टी के गुण-धर्म को आप किस तरह परिभाषित करेंगे?
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