पोलैण्ड में लोकतंत्र कैसे पुनःस्थापित हुआ?
लेक वालेशा जो एक इलेक्ट्रीशियन था, उसने 'एक क्रेन चालक महिला' को गलत ढंग से नौकरी से निकाले जाने के खिलाफ़ हड़ताल में हिस्सा लिया। हड़ताल को समर्थन बढ़ता चला गया और जल्दी ही यह पूरे शहर में फैल गई। वह बहुत ही जल्द प्रसिद्ध हो गया और हड़ताली कर्मचारियों का नेता बन गया। जल्दी ही सरकार मजदूरों की मांग मानने के लिए तैयार हो गई । एक स्वतंत्र मज़दूर संघ बनाया गया। जल्दी ही इसके एक करोड़ सदस्य हो गए। सरकार ने इसे दबाने का प्रयास किया। इसके विरोध में हड़ताल हुई। इसके बाद स्वतंत्र चुनाव के लिए एक समझौता 1989 में हुआ। इस चुनाव में लेक वालेशा पोलैण्ड के राष्ट्रपति निर्वाचित हुए ।



