विज्ञान Chapter 9 बल तथा गति के नियम
  • Sponsor Area

    NCERT Solution For Class 9 विज्ञान विज्ञान

    बल तथा गति के नियम Here is the CBSE विज्ञान Chapter 9 for Class 9 students. Summary and detailed explanation of the lesson, including the definitions of difficult words. All of the exercises and questions and answers from the lesson's back end have been completed. NCERT Solutions for Class 9 विज्ञान बल तथा गति के नियम Chapter 9 NCERT Solutions for Class 9 विज्ञान बल तथा गति के नियम Chapter 9 The following is a summary in Hindi and English for the academic year 2021-2022. You can save these solutions to your computer or use the Class 9 विज्ञान.

    Question 1
    CBSEHHISCH9007004

    कोई वस्तु शून्य बाह्य असंतुलित बल अनुभव करती है। क्या किसी भी वस्तु के लिए अशून्य वेग से गति करना संभव है? यदि हाँ, तो वस्तु के वेग के परिमाप एवं दिशा पर लगने वाली शर्तों का उल्लेख करें। यदि नहीं, तो कारण स्पष्ट करें।

    Solution

    हाँ, संभव है। वास्तव में, गति की अवस्था में परिवर्तन के लिए बल की आवश्यकता होती है न कि एक समान गति की अवस्था को बनाए रखने के लिए। अत: यदि कोई वस्तु पहले से गतिमान है तो वह बाह्य असंतुलित बल की अनुपस्थिति में भी एक समान गति की अवस्था को बनाए रखेगी।

    Question 2
    CBSEHHISCH9007005

    जब किसी छड़ी से दरी ( कार्पेट ) को पीटा जाता है, तो धूल के कण बाहर आ जाते हैं। स्पष्ट करें।

    Solution

    दरी को छोड़ से पीटने पर धूल के कण नीचे इसलिए गिर जाते हैं, क्योंकि धूल के कण विराम के जड़त्व के कारण विराम में रहने का प्रयत्न करते हैं और दरी को छड़ी से पीटने पर आगे की ओर गति करने लगता है और धूल के कण नीचे गिर जाते हैं।

    Question 3
    CBSEHHISCH9007006

    बस की छत पर रखे सामान को रस्सी से क्यों बाँधा जाता है?

    Solution

    जब चलती हुई गाडी में अचानक ब्रेक लगाए जाते हैं अथवा एकाएक उसे मोड़ा जाता है तो गति जड़त्व के कारण गाडी की छत पर रखा समान उसी वेग से उसी दिशा में गतिमान रहने का प्रयास करता है। ऐसे में यदि सामान बाँधा नहीं गया है तो वह छत से नीचे गिर सकता है, इससे सामान के टूटने की संभावना रहती है। अत: बस की छत पर रखे सामान को बाँधकर रखा जाता है।

    Question 6
    CBSEHHISCH9007009

    1 kg द्रव्यमान के एक पत्थर को के वेग से झील की जमी हुए सतह पर फेंका जाता है। पत्थर 50 m की दूरी तय करने के बाद रुक जाता है। पत्थर और बर्फ के बीच लगने वाले घर्षण बल की गणना करें।

    Solution
    यह ाँ comma
द ् रव ् यम ा न space left parenthesis straight m right parenthesis space equals space 1 space kg
प ् र ा र ं भ ि क space व े ग space left parenthesis straight u right parenthesis space equals space 20 space ms to the power of negative 1 end exponent
अ ं त ि म space व े ग space left parenthesis straight v right parenthesis space equals space 0
तय space क ी space गई space द ू र ी space left parenthesis straight S right parenthesis space equals space 50 space straight m
बल space left parenthesis straight F right parenthesis space equals space ?
straight v squared space minus space straight u squared space equals space 2 aS
therefore space 0 squared space minus space 20 squared space equals space 2 straight a space straight x space 50
rightwards double arrow space straight a space equals space minus 400 over 100 space equals space minus space 4 space ms to the power of negative 2 end exponent

    ऋणात्मक चिह्न मंदन को प्रदर्शित करता है।
    अत: पत्थर का मंदन 4 ms2 है।
    F = ma
    बर्फ द्वारा लगाया गया बल F = 1 kg x 4 ms2 = 4N
    अत: बर्फ तथा पत्थर के बीच 4 न्यूटन का बल लगता है।

    Question 7
    CBSEHHISCH9007010

    एक 8000 kg द्रव्यमान का रेल इंजन 2000 kg द्रव्यमान वाले पाँच डिब्बों को सीधा पटरी पर खींचता है। यदि इंजन 40000 N का बल आरोपित करता है, तथा यदि पटरी 5000 N का घर्षण बल लगाती है तो ज्ञात करें:
    (a) नेट त्वरण बल
    (b) रेल का त्वरण तथा
    (c) डिब्बे 1 द्वारा डिब्बे 2 पर लगाया गया बल।

    Solution

    पाँच डिब्बों तथा इंजन का कुल द्रव्यमान (m) = 8000 + 5 x 2000 = 18000 kg
    (a) रेलगाड़ी पर नेट त्वरक बल = इंजन का बल - पटरी का घर्षण बल
    F = इंजन का बल - पटरी का घर्षण बल
    = 40000 - 5000 = 35000 N
    (b) रेल का त्वरण 
    space straight a space equals space straight F over straight m space equals space 35000 over 18000 space equals space 35 over 18 space equals space 1.94 space ms to the power of negative 2 end exponent
    (c) एक डिब्बे द्वारा दूसरे डिब्बे पर आरोपित बल = कुल त्वरण बल - द्रव्यमान x त्वरण
    equals space 35000 space minus space 2000 space cross times space 35 over 18
equals space 35000 space minus space 3888.8
equals space 31111.2 space straight N

    Question 8
    CBSEHHISCH9007011

    एक गाडी का द्रव्यमान 1500 kg है। यदि गाडी को 1.7 ms-2 के ऋणात्मक त्वरण (अवमंदन) के साथ विरामावस्था में लाना है तो गाडी तथा सड़क के बीच लगने वाला बल कितना होगा?

    Solution

    यहाँ,
    गाडी का द्रव्यमान (m) = 1500 kg
    त्वरण (a) = 1.7 ms-2
    बल (F) = ma = 1500 x (-1.7) = - 2550 N
    गाडी तथा सड़क के बीच लगने वाला बल = 2550 N

    Question 10
    CBSEHHISCH9007013

    हम एक लकड़ी के बक्से को 200 N बल लगाकर उसे नियत वेग से फर्श पर धकेलते हैं। बक्से पर लगने वाला घर्षण बल क्या होगा?

    Solution

    बक्से पर लगाया गया बल (F1) = 200 N
    माना बक्से पर लगा घर्षण बल = F2 न्यूटन
    बक्से पर लगा नेट बल = F1 - F2 = ( 200 - F2 ) न्यूटन
    चूँकि बक्सा नियत वेग से गतिमान है, अत: बक्से पर नेट असंतुलित बल शून्य होगा।
    नेट बल = ( 200 - F2 ) न्यूटन = 0
    F2 = 200 N
    बक्से पर लगा घर्षण बक 200 N है।

    Question 11
    CBSEHHISCH9007014

    दो वस्तुएँ, प्रत्येक का द्रव्यमान है, एक ही सीधी रेखा में एक दूसरे के विपरीत दिशा में गति क्र रही हैं। टकराने के पहले प्रत्येक का वेग 2.5ms-1 है। टकराने के बाद यदि दोनों एक दूसरे से जुड़ जाती हैं, तब उनका सम्मिलित वेग क्या होगा?

    Solution

    यहाँ,  
    वस्तुओं का द्रव्यमान, m1 = m2 = 1.5 kg
    टकराने से पहले इनका वेग, u1 = 2.5 ms-1, u2 = -2.5 ms-1
    माना की टक्कर के पश्चात दोनों का सम्मिलित वेग V हो जाता है।
    टक्कर के पहले दोनों का कुल संवेग = (m1 + m2) v = m1u1 + m2u2
    rightwards double arrow(1.5 + 1.5)v = 1.5 x 2.5 + 1.5 x (-2.5)
    rightwards double arrow 3.0 v =  0
     So, v = 0 ms-1
    तथा टक्कर के बाद दोनों का कुल संवेग = (m1 + m2)V
    = (1.5 + 1.5)V = 3V
    टक्कर के बाद कुल संवेग = टक्कर से पहले कुल संवेग
    3 up diagonal strike straight U space equals space 0
straight V space equals space 0
    अत: टक्कर में दोनों वस्तुओं का सम्मिलित वेग शून्य होगा अर्थात वे विरामावस्था में आ जाएँगी।

    Question 12
    CBSEHHISCH9007015

    गति के तृतीय नियम के अनुसार जब हम किसी वास्तु को धक्का हैं, तो वस्तु उतने ही बल के साथ हमें भी विपरीत दिशा में धक्का देती है। यदि वह वस्तु एक ट्रक है जो सड़क के किनारे खड़ा है; संभवत: हमारे द्वारा बल आरोपित करने पर भी गतिशील नहीं हो पाएगा। एक विद्यार्थी इसे सही साबित करते हुए कहता है कि दोनों बल विपरीत एवं बराबर हैं जो एक-दूसरे का निरस्त कर देते हैं इस तर्क पर अपना विचार दें और बताएँ कि ट्रक गतिशील क्यों नहीं हो पाता।

    Solution

    विद्यार्थी का तर्क गलत है यही सही है कि क्रिया तथा प्रतिक्रिया के बल विपरीत एवं बराबर होते हैं परन्तु ये बल कभी भी एक ही वस्तु पर कार्य नहीं करते। जैसेकि इस उदाहरण में, हमारे द्वारा आरोपित बल ट्रक पर लगेगा, जबकि ट्रक का प्रतिक्रिया बल हम पर लगेगा। ट्रक के गतिमान होने का संबंध केवल ट्रक पर लगने वाले बल से है न कि हमारे द्वारा लगे प्रतिक्रिया बल से। अत: क्रिया-प्रतिक्रिया के बलों को निरस्त होने का कोई प्रश्न नहीं उठता। हमारे द्वारा ट्रक पर बल आरोपित किए जाने पर भी ट्रक गतिशील नहीं हो पाता, इसका कारण यह है कि ट्रक पर इस बल के अतिरिक्त पृथ्वी द्वारा आरोपित घर्षण बल भी लगा है जोकि हमारे द्वारा आरोपित बल को संतुलित कर देता है।

    Question 13
    CBSEHHISCH9007016

    200 g द्रव्यमान की एक हॉकी की गेंद 10 ms-1 की वेग से सीधी रेखा में चलती हुई 5 kg द्रव्यमान के लकड़ी के टुकड़े से संघट्ट के बाद के कुल संवेगों की गणना करें। दोनों वस्तुओं की जुडी हुई अवस्था के वेग की गणना करें।

    Solution

    यहाँ,    
    हॉकी की गेंद का द्रव्यमान (m1) = 200 g = 0.2 kg
    गुटके का द्रव्यमान (m2) = 5 kg
    गेंद की प्रारंभिक वेग (u1) = 10 ms-1
    गेंद की अंतिम वेग (v) = - 5 ms-1
    गुटके का वेग (u2) = 0
    माना कि संयुक्त पिंड V वेग से गति करता है।
    संघट्ट के पहले कुल संवेग, m1u1 + m2u2
    = 0.2 x 10 + 5 x 0
    = 2 kg-ms-1
    संघट्ट के बाद, कुल संवेग = (m1 + m2)V
    = 5.2 Vkg-ms-1
    संवेग संरक्षण के नियम से,
    संघट्ट के पूर्व संवेग = संघट्ट के बाद संवेग
    2 = 5.2V
    straight V space equals space fraction numerator 2 over denominator 5.2 end fraction space equals space 0.38 space ms to the power of negative 1 end exponent
    अत: संघट्ट के पहले तथा बाद में, दोनों दशाओं में कुल संवेग = 2 kg-ms-1
    तथा संघट्ट के बाद जुडी अवस्था में वेग = 0.38 ms-1

    Question 15
    CBSEHHISCH9007018

    एक वास्तु जिसका द्रव्यमान 1 kg है, 10 ms-1 की वेग से एक सीधी रेखा में चलते हुए विरामावस्था में रखे 5 kg द्रव्यमान के एक लकड़ी के टुकड़े से टकराती है। उसके बाद दोनों साथ-साथ उसी सीधी रेखा में गति करते हैं। संघट्ट के पहले तथा बाद के कुल सावेगों की गणना करें। आपस में जुड़े हुए संयोजन के वेग की भी गणना करें।

    Solution

    यहाँ,  
    वस्तु का द्रव्यमान (m1) = 1 kg
    वेग (u1) = 10 ms-1
    लकड़ी के गुटके का द्रव्यमान (m2) =5 kg
    वेग (u2) =0 m/s 
    संघट्ट के पहले का कुल संवेग,
    m1u1 + m2u2 = 1 x 10 + 5 x 0 = 10 kg ms-1 
    संघट्ट के बाद, संयुक्त पिंड का संवेग,
    (m1 + m2) v = (1+5)v = 6v kg ms-1
    संवेग सरक्षण के नियम से, 
    6v = 10
    rightwards double arrow space straight v space equals space 10 over 6 space equals space 5 over 3
    अत: संघट्ट के पहले तथा बाद में कुल संवेग = 6 space straight x space 5 over 3 space equals space 2 space straight x space 5 space equals space 10 space ms to the power of negative 1 end exponent

    Question 16
    CBSEHHISCH9007019

    100 kg द्रव्यमान की एक वस्तु का वेग समान त्वरण से चलते हुए 6 s में 5 ms-1 से 8 ms-1 हो जाता है। वस्तु के पहले और बाद के संवेगों की गणना करें। उस बल के परिमाण की गणना करें जो उस वस्तु पर आरोपित है।

    Solution

    यहाँ,
    वस्तु का द्रव्यमान (m) = 100 kg
    वस्तु का प्रारम्भिक वेग (u) = 5 ms-1
    वस्तु का अंतिम वेग (v) = 8 ms-1
    समय = 6 s
    प्रारम्भिक संवेग = m.u = 100 x 50 = 500 kg ms-1
    अंतिम संवेग = m.v = 100 x 8 = 800 kg ms-1
    straight a space equals space fraction numerator straight v space minus space straight u over denominator straight t end fraction space equals space fraction numerator 8 space minus space 5 over denominator 6 end fraction space equals space 0.5 space ms to the power of negative 2 end exponent
    F = ma = 100 x 0.5 = 50 N
    वस्तु पर लगे हुए बल का परिमाण = 50 N

    Question 17
    CBSEHHISCH9007020

    अख्तर, किरण और राहुल किसी राजमार्ग पर बहुत तीव्र गति से चलती हुई कार में सवार हैं, अचानक उड़ता हुआ कोई कीड़ा, गाड़ी के सामने के शीशे पर आ टकराया और वह शीशे से चिपक गया। अख्तर और किरण इस स्थिति पर विवाद करते हैं। किरण का मानना है कि कीड़े के संवेग परिवर्तन का परिमाण कार के संवेग परिवर्तन के परिमाण कि अपेक्षा बहुत अधिक है। ( क्योंकि कीड़े के वेग में परिवर्तन को मान कार के वेग के मान से बहुत अधिक है। )अख्तर ने कहा चूँकि कार का वेग बहुत अधिक था अत: कार ने कीड़े पर बहुत बल लगाया जिसके कारण कीड़े की मौत हो गई। राहुल ने एक न्य तर्क देते हुए कहा कि कार तथा कीड़ा दोनों पर समान बल लगा और दोनों के संवेग में बराबर परिवर्तन हुआ। इन विचारों पर अपनी प्रतिक्रिया दें।

    Solution

    राहुल का तर्क सही है। क्रिया-प्रतिक्रिया के नियम से दोनों पर समान बल लगेगा तथा दोनों के संवेग में भी समान परिवर्तन होगा। क्योंकि कीड़े का प्रारम्भिक संवेग, कार के संवेग की तुलना में नगण्य है, अत: कीड़े का संवेग-परिवर्तन स्पष्ट परिलक्षित होगा, जबकि समान संवेग-परिवर्तन से कार के संवेग में कोई स्पष्ट अंतर् नहीं दिखाई देगा।

    Sponsor Area

    Question 18
    CBSEHHISCH9007021
    Question 20
    CBSEHHISCH9007232

    निम्न दिए गए उदाहरण में, गेंद का वेग कितनी बार बदलता है, जानने का प्रयास करें:
    'फुटबाल का एक खिलाडी गेंद पर किक लगाकर गेंद को अपनी टीम के दूसरे खिलाडी के पास पहुँचाता है। दूसरा खिलाडी उस गेंद को किक लगाकर गोल की ओर पहुँचाने का प्रयास करता है। विपक्षी टीम का गोलकीपर गेंद को पकड़ता है और अपनी टीम के खिलाडी की ओर किक लगता है।'
    इसके साथ ही उसी ककर की भी पहचान करें जो प्रत्येक अवस्था में बल प्रदान करता है।

    Solution

    वेग कुल तीन बार बदलता है:
    (i) पहली बार वेग परिवर्तन के लिए आवश्यक बल प्रदान करने वाला कारक पहले खिलाडी द्वारा लगाई गई किक है।
    (ii) दूसरी बार वेग परिवर्तन के लिए आवश्यक बल, दूसरे खिलाडी द्वारा लगाई गई किक से प्राप्त होता है।
    (iii) तीसरी बार वेग परिवर्तन के लिए आवश्यक बल, विपक्षी टीम के गोलकीपर द्वारा लगाई गई किक से प्राप्त होता है।

    Question 21
    CBSEHHISCH9007233

    किसी पेड़ की शाखा को तीव्रता से हिलाने पर कुछ पत्तियाँ झड़ जाती है। क्यों?

    Solution

    पत्तियाँ शुरू में विरामावस्था में होती हैं जो जड़त्व के कारण इसी अवस्था में बनी रहना चाहती हैं।शाखाओं को तेजी से हिलाने से उनकी स्थिति बदल जाती है तथा जड़त्व के कारण पत्तियाँ टूटकर गिर जाती हैं।

    Question 22
    CBSEHHISCH9007234

    जब कोई गतिशील बस अचानक रूकती है तो आप की ओर झुक जाते हैं और जब विरामावस्था से गतिशील होती है तो पीछे की ओर हो जाते हैं, क्यों?

    Solution

    बस के अचानक रुकने पर उसका वेग शून्य हो जाता है और इसका साथ-साथ शरीर के निचले भाग का सम्पर्क बस के साथ होने से उसका वेग भी शून्य हो जाता है परंतु शरीर के ऊपर का भाग जड़त्व के कारण उसी वेग से आगे की ओर चलने का प्रयत्न करता है और आगे की ओर झुक जाता है।
    बस के चलने पर हमारे पैर भी बस के वेग से गतिमान हो जाते हैं परंतु ऊपरी भाग जड़त्व के कारण स्थिर रहता है जिससे हम पीछे की ओर गिर जाते हैं।

    Question 23
    CBSEHHISCH9007235

    यदि क्रिया सदैव प्रतिक्रिया के बराबर है तो स्पष्ट कीजिए कि घोडा गाड़ी को कैसे खींच पाता है?

    Solution

    घोड़े के पैर द्वारा किसी कोण से पृथ्वी पर लगे बल को चित्र के अनुसार दो लम्बवत घटकों में विभाजित किया जा सकता है।

    घोड़े के पैर द्वारा लगे बल का ऊर्ध्वाधर घटक घोड़े के भार को संतुलित करता है।
    जबकि क्षैतिज घटक कि प्रतिक्रिया गाड़ी को आगे (क्षैतिज दिशा में) गति प्रदान करती है।

    Question 24
    CBSEHHISCH9007236

    एक अग्निशमन कर्मचारी को तीव्र गति से बहुतायत मात्रा में पानी फेंकने वाली रबड़ की नली को पकड़ने में कठिनाई क्यों होती है, स्पष्ट करें।

    Solution

    क्रिया और प्रतिक्रिया सदा समान और विपरीत दिशा में होती हैं। अग्निशमन के लिए हौज पाइप से बहुत आदिक मात्रा में वेगपूर्वक पानी निकलता है तो पानी की धारा आग पर गिरती है पर वह पाइप को पीछे की ओर उतने हो वेग से पीछे धकेलता है। इसलिए होज पाइप को पकड़कर रखना कठिन होता है।

    Question 25
    CBSEHHISCH9007237

    एक 50 g द्रव्यमान की गोली 4 kg द्रव्यमान की रायफ़ल से 35 ms-1 प्रारंभिक वेग से छोड़ी जाती है। रायफ़ल के प्रारंभिक प्रतिक्षेपित वेग की गणना कीजिए।

    Solution
    ग ो ल ी space क ा space द ् रव ् यम ा न comma space space straight m subscript 1 space equals space 50 space straight g space equals space 50 over 1000 space kg space equals space 0.05 space kg

    गोली के छूटने का वेग, u1 = 35 m/s
    रायफ़ल का द्रव्यमान, m2 = 4 kg
    रायफ़ल का प्रतिक्षेपित वेग, u2 = ?
    चूँकि होली में विस्फोट होने से पूर्व गोली तथा रायफ़ल दोनों विरामावस्था में थीं
    इसलिए, विस्फोट से पूर्व दोनों का कुल संवेग,
      = m1u1 + m2u2
      = m1 x 0 + m2 x 0
    विस्फोट के बाद दोनों का संवेग,
      = m1v1 + m2v2
      = 0.05 x 35 + 4 v2
    संवेग संरक्षण के नियम से,
      = 0.05 x 35 + 4 v2 = 0
    4v2 = -0.05 x 35 = -1.75
       straight v subscript 2 space equals space fraction numerator negative space 1.75 over denominator 4 end fraction space equals space 0.4375 space straight m divided by straight s

    Mock Test Series

    Sponsor Area

    Sponsor Area

    NCERT Book Store

    NCERT Sample Papers

    Entrance Exams Preparation