निम्नलिखित काव्यांश को पढ़कर पूछे गए प्रशनों के उत्तर दीजिये: बैठा शुक उस घनी डाल पर जो खोंते पर छाया देती। पंख फुला नीचे खोंते में शुकी बैठ अंडे है सेती। गाता शुक जब किरण वसंती छूती अंग पर्ण से छनकर। किंतु, शुकी के गीत उमड़कर रह जाते सनेह में सनकर।
गूँज रहा शुक का स्वर वन में, फूला मग्न शुकी का पर है। गती, अगीत, कौन सुदंर है?
शुकी के गीतों को किस प्रकार का कहा गया है?
विरह का
स्नेह से भीगा हुआ
जोश का
कर्कश
Answer
Multi-choise Question
B.
स्नेह से भीगा हुआ
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