निम्नलिखित प्रश्न के उत्तर लगभग 150 शब्दों में दें:
जल संसाधनों का ह्रास सामाजिक द्वंद्वों और विवादों को जन्म देते हैं। इसे उपयुक्त उदाहरणों सहित समझाइए।
इसमें कोई दोराहे नहीं है कि जल संसाधनों का ह्रास सामाजिक द्वंद्वों और विवादों को जन्म देता हैं। नीचे दिए गए उदहारणों से स्पष्ट होता हैं कि यह अपने आप में एक समस्या बन गई हैं:
- पंजाब और हरियाणा के बीच विवाद: हरियाणा में सिंचाई के लिए पानी की कमी थी। केंद्र सरकार ने सतलुज नदी से पानी उपलब्ध कराने की योजना बनाई, लेकिन पंजाब के लोगों ने सरकार को अनुमति नहीं दी। इतना ही नहीं उच्चतम न्यायालय ने भी हरियाणा के पक्ष में फैसला किया था, किन्तु फिर भी पंजाब हरियाणा को अतिरिक्त जल उपलब्ध कराने को राज़ी नहीं हुआ जिससे दोनों राज्यों के बीच में बाद में विवाद उत्पन्न हो गया।
- तमिलनाडु और कर्नाटक के बीच विवाद: तमिलनाडु और कर्नाटक के बीच 'कावेरी विवाद' भी इस तरह का विवाद था जिसे हाल ही में सुप्रीम कोर्ट ने निपटाया था। इसके चलते तमिलनाडु चुनाव में राजनैतिक दलों ने इसका काफी लाभ उठाया था।
- पीने के पानी को लेकर विवाद: साफ़ अथवा पीने के पानी को लेकर समय-समय पर विभिन्न राज्यों के बीच विवाद देखे जा सकते हैं। जैसे कि: उत्तर प्रदेश की सरकार द्वारा दिल्ली राज्य को निर्धारित मात्रा से कम पानी उपलब्ध करने का विवाद इत्यादि। इतना ही नहीं नदियों का प्रदूषित पानी भी समाज में अनेक समस्याएँ पैदा करता है।



