आपके विचार से स्वतंत्रता सेनानियों और अपराधियों के साथ एक-सा व्यवहार क्यों किया जाता होगा?
ब्रिटिश सरकार स्वतंत्रता सेनानियों और अपराधियों में कोई अंतर नहीं समझती थी। उनके लिए दोनों अपराधी एक जैसे दोषी ही थे। सरकार क्रांतिकारियों की आज़ादी की माँग को दबाना चाहती थी। स्वतंत्रता सैनानियों के मनोबल को तोड़ने के लिए तथा भारत पर अपनी सत्ता कायम रखने के लिए वे दोनों के साथ समान व्यवहार करती थी।