Question
निम्नलिखित गद्यांश को पढ़कर पूछे गए प्रश्नों के उत्तर दीजिए-
महात्मा गांधी के पास दुनिया भर से तमाम पत्र केवल महात्मा गांधी-इंडिया लिखे आते थे और वे जहाँ भी रहते थे वहाँ तक पहुँच जाते थे। आज़ादी के आदोलन की कई अन्य दिग्गज हस्तियों के साथ भी ऐसा ही था। गांधीजी के पास देश-दुनिया से बड़ी संख्या में पत्र पहुँचते थे पर पत्रों का जवाब देने के मामले में उनका कोई जोड़ नहीं था। कहा जाता है कि जैसे ही उन्हें पत्र मिलता था, उसी समय वे उसका जवाब भी लिख देते थे। अपने हाथों से ही ज्यादातर पत्रों का जवाव देते थे। जब लिखते-लिखते उनका दाहिना हाथ दर्द करने लगता था तो वे बाएँ हाथ से लिखने में जुट जाते थे। महात्मा गांधी ही नहीं आदोलन के तमाम नायकों के पत्र गाँव-गाँव में मिल जाते है। पत्र भेजनेवाले लोग उन पत्रों को किसी प्रशस्तिपत्र से कम नहीं मानते हैं।
गाँधीजी द्वारा लिखे पत्रों को लोग प्रशस्ति पत्र क्यों मानते थे?
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क्योंकि उन्हें गाँधीजी के हाथ से लिखे पत्रों को पढ़कर संतुष्टि मिलती थी।
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क्योंकि वे गाँधीजी के प्रेम को समझ पाते थे।
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क्योंकि उन पत्रों में गांधीजी उनकी प्रशंसा करते थे।
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इनमें से कोई नहीं।
Solution
A.
क्योंकि उन्हें गाँधीजी के हाथ से लिखे पत्रों को पढ़कर संतुष्टि मिलती थी।