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मनोविज्ञान एवं खेल

Question
CBSEHHIPEH11016115

किशोरावस्था में होने वाली समस्याओं के प्रबंधन के बारे में विचार करें।

Solution

किशोरों की समस्याओं के समाधान के उपाय:

  1. सहानुभूतिपुर्ण और स्वतंत्रापुर्ण व्यवहार: माता-पिता को किशोरों के बदलते व्यवहार के कारण चिंतित होने के बजाय उनके साथ सहानुभूति पुर्ण एवं स्वतंत्रतापुर्वक व्यवहार किया जाना चाहिए। माता-पिता को बच्चों के विकास और विकास के दौरान होने वाले बदलावों पर ध्यान देना चाहिए और किशोरों के प्रति अपना व्यवहार समायोजित करना चाहिए। माता-पिता का उदार और सहानुभूतिपूर्ण दृष्टिकोण बच्चों में आत्मविश्वास पैदा करता हैं।
  2. घर एवं विद्यालय का स्वस्थ वातावरण: अगर घर एवं विद्यालय का वातावरण स्वस्थ नहीं होगा तो किशोर अपने लक्ष्य से भटक सकते हैं, गलत आदतों का शिकार बन सकते है जैसे जुआ खेलना, नशा करना आदि। किशोरों के शारीरिक एवं मानसिक विकास के लिए घर एवं विद्यालय का उचित वातावरण उपलब्ध कराया जाना चाहिए।किशोरों को विभिन्न प्रकार की मनोरंजन क्रियाओं जैसे नृत्य, योग और एरोबियस एवं जिम आदि में भाग लेने के लिए प्रोत्साहित करना चाहिए।
  3. नैतिक एवं धार्मिक शिक्षा: घर पर माता-पिता तथा परिवार के बड़े बुजुर्गों द्वारा किशोरों को नैतिक तथा धार्मिक शिक्षा दी जानी चाहिए। इससे उनकी व्यवहार संबंधी समस्याओं का निदान किया जा सकता है।
  4. मित्रता पूर्ण व्यवहार: जब बच्चा किशोरावस्था में पहुचता है तो माता एवं शिक्षकों को इनके साथ मित्रता पूर्ण व्यवहार रखना चाहिए ताकि वह स्वतंत्रता के साथ अपनी समस्याओं की चर्चा कर सके। अगर हम किशोरों से सख्त व्यवहार रखेगें तो वह अपने मार्ग से विचलित हो सकते हैं। मित्रतापूर्वक व्यवहार से दोनों के बीच मित्रता पूर्ण सम्बन्ध अच्छे बन सकते हैं।
  5. पर्याप्त स्वतंत्रता: किशोरों को अपनी भावनाएँ और सुझाव व्यक्त करने के लिए पर्याप्त स्वतंत्रता मिलनी चाहिए। उन्हें अपने मित्रों का चुनाव तथा उनके साथ घुमने की स्वतंत्रता होनी चाहिए हालांकि माता-पिता को अपने बच्चों के मित्र के विषय में पूरी जानकारी होनी चाहिए।