Question
निम्नलिखित काव्यांश को पढ़कर उसका शिल्प सौन्दर्य लिखिए:
दो प्रेमी हैं यहाँ, एक जब
बड़े साँझ आल्हा गाता है,
पहला स्वर उसकी राधा को
घर से यहाँ खींच लाता है।
चोरी-चोरी खड़ी नीम की
छाया में छिपकर सुनती है,
‘हुई न क्यों मैं कड़ी गीत की
बिधना’, यों मन में गुनती है।
वह गाता, पर किसी वेग से
फूल रहा इसका अंतर है।
गीत, अगीत, कौन सुदंर है?
Solution
शिल्प सौन्दर्य:
1. गीत व अगीत के बीच ममत्व, मानवीय प्रेम और प्रेमभाव का भी सजीव चित्रण किया गया है।
2. खड़ी बोली का प्रयोग किया गया है।
3. तत्सम प्रधान शब्दावली का प्रयोग किया गया है।
4. भाषा में लयात्मकता व गीतात्मकता है।
5. भाषा सरल, सरस व प्रवाहमयी है।
6. भावात्मक व उदाहराणात्मक शैली का प्रयोग किया गया है।
7. चित्रात्मक होने के कारण वर्णन सजीव व रोचक बन पड़ा है।
8. ‘चोरी-चोरी’, गा-गाकर में पुनरुक्ति प्रकाश अलंकार है।