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संस्थाओं का कामकाज

Question
CBSEHHISSH9009414

अगर आपको भारत का राष्टपति चुना जाए तो आप निम्नलिखित में से कोन-सा फ़ैसला खुद कर सकते हैं?

  • अपनी पसंद के व्यक्ति को प्रधानमंत्री चुन सकते हैं। 

  • लोकसभा में बहुमत वाले प्रधानमंत्री को उसके पद से हटा सकते हैं। 

  • दोनों सदनों द्वारा पारित विधेयक पर पुनर्विचार के लिए कह सकते हैं ।

  • मंत्रिपरिषद्  में अपनी पसंद के नेताओं का चयन कर सकते हैं।

Solution

C.

दोनों सदनों द्वारा पारित विधेयक पर पुनर्विचार के लिए कह सकते हैं ।

Some More Questions From संस्थाओं का कामकाज Chapter

उस मंत्रालय की पहचान करें जिसने निम्नलिखित समाचार ज़ारी किया होगा:

देश की विधायिका,कार्यपालिका और न्यायपालिका में से उस राजनैतिक संस्था का नाम बताइए जो निम्नलिखित मामलों में अधिकारों का इस्तेमाल करती है।

सड़क सिंचाईं जैसे बुनियादी ढाँचों के विकास और नागरिकों की विभिन्न कलयाणकारी गतिविधियों पर कितना पैसा खर्च किया जाएगा।

देश की विधायिका,कार्यपालिका और न्यायपालिका में से उस राजनैतिक संस्था का नाम बताइए जो निम्नलिखित मामलों में अधिकारों का इस्तेमाल करती है।

स्टॉक एक्सचेंज को नियमित करने संबंधी कानून बनाने की कमेटी के सुझाव पर विचार-विमर्श करती है।

देश की विधायिका,कार्यपालिका और न्यायपालिका में से उस राजनैतिक संस्था का नाम बताइए जो निम्नलिखित मामलों में अधिकारों का इस्तेमाल करती है।

दो राज्य सरकारों के बीच कानूनी विवाद पर निर्णय लेती है।

देश की विधायिका,कार्यपालिका और न्यायपालिका में से उस राजनैतिक संस्था का नाम बताइए जो निम्नलिखित मामलों में अधिकारों का इस्तेमाल करती है।


भूकंप पीड़ितों की राहत के प्रयासों के बारे में सुचना माँगती है।   

भारत का प्रधानमंत्री सीधे जनता द्वारा क्यों नहीं चुना जाता? निम्नलिखित चार जवाबों में सबसे सही को चुनकर अपनी पसंद के पक्ष में कारण दीजिए:

तीन दोस्त एक ऐसी फिल्म देखने गए जिसमें हीरो एक दिन के लिए मुख्यमंत्री बनता है और राज्य में बहुत से बदलाव लाता है। इमरान ने कहा कि देश को इसी चीज़ की ज़रूरत है। रिज़वान ने कहा कि इस तरह का, बिना संस्थाओं वाले एक व्यक्ति का राज खतरनाक है। शंकर ने कहा कि यह तो एक कल्पना है कोई भी मंत्री एक दिन में कुछ भी नहीं कर सकता ऐसी फिल्मों के बारे में आपकी क्या राय है?  

एक शिक्षिका छात्रों की संसद के आयोजन की तैयारी कर रही थी। उसने दो छात्राओं से अलग-अलग पार्टियों के नेताओं की भूमिका करने को कहा। उसने उन्हें विकल्प भी दिया। यदि वे चाहे तो राज्य सभा में बहुत प्राप्त दल की नेता हो सकती थी और अगर चाहे तो लोकसभा के बहुमत प्राप्त दल की। अगर आपको यह विकल्प दिया गया तो आप क्या चुनेंगे और क्यों?     

आरक्षण पर आदेश का उदाहरण पढ़कर तीन विद्यार्थियों की न्यायपालिका की भूमिका पर अलग-अलग प्रतिक्रिया थी। इनमें से कोन-सी प्रतिक्रिया, न्यायपालिका की भूमिका को सही तरह से समझती है? 

आपकी राय में कौन-सा विचार सबसे सही है।