मुक्तिबोध की कविता के आधार पर स्पष्ट कीजिए कि कवि ने किसे सहर्ष स्वीकारा था। आगे चलकर वह उसी को क्यों भुला देना चाहता है?
कवि ने अपने सुख-दु:ख की अनुभूतियों को सहर्ष स्वीकार। है। कवि के पास अपनी गर्वीली गरीबी है, जीवन के गहरे अनुभव हैं, व्यक्तित्व की दृढ़ता है, नूतन भावनाओं का प्रवाह है, अपने प्रिय का प्रेम है। उसने इन सभी को सहर्ष स्वीकारा है। आगे चलकर कवि अपने प्रिय को इसलिए भुला देना चाहता है क्योंकि उसका अतिशय प्रेम, बहलाती-सहलाती आत्मीयता अब उससे बर्दाश्त नहीं हो पाती। वह उसके प्रभाव से मुक्त होना चाहता है।