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अब कहाँ दूसरे के दुख से दुखी होने वाले

Question
CBSEENHN10002610

निम्नलिखित का आशय स्पष्ट कीजिए−
इस बस्ती ने न जाने कितने परिंदों-चरिंदों से उनका घर छीन लिया है। इनमें से कुछ शहर छोड़कर चले गए हैं। जो नहीं जा सके हैं उन्होंने यहाँ-वहाँ डेरा डाल लिया है।

 

Solution

उपर्युक्त पंक्तियों का आशय यह है कि बढ़ते शहरीकरण ने पक्षियों से उनके घर छीन लिए हैं, कुछ की तो जातियाँ ही नष्ट हो गईं। इसलिए कुछ पक्षियों ने अपने ठिकाने बदल दिए हैं या शहर की इमारतों में अपने नए ठिकाने बना लिए हैं।  

Some More Questions From अब कहाँ दूसरे के दुख से दुखी होने वाले Chapter

निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर एक-दो पंक्तियों में दीजिए-
बड़े-बड़े बिल्डर समुद्र को पीछे क्यों धकेल रहे थे? 

निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर एक-दो पंक्तियों में दीजिए-
लेखक का घर किस शहर में था?

निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर एक-दो पंक्तियों में दीजिए-
जीवन कैसे घरों में सिमटने लगा है?

निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर एक-दो पंक्तियों में दीजिए-
कबूतर परेशानी में इधर-उधर क्यों फड़फड़ा रहे थे?

निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर (25-30 शब्दों में) लिखिए-
अरब में लशकर को नूह के नाम से क्यों याद करते हैं? 


निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर (25-30 शब्दों में) लिखिए-
लेखक की माँ किस समय पेड़ों के पत्ते तोड़ने के लिए मना करती थीं और क्यों?


निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर (25-30 शब्दों में) लिखिए-
प्रकृति में आए असंतुलन का क्या परिणाम हुआ?

निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर (25-30 शब्दों में) लिखिए-
लेखक की माँ ने पूरे दिन रोज़ा क्यों रखा?

निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर (25-30 शब्दों में) लिखिए-
लेखक ने ग्वालियर से बंबई तक किन बदलावों को महसूस किया? पाठ के आधार पर स्पष्ट कीजिए।

निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर (25-30 शब्दों में) लिखिए-
'डेरा डालने' से आप क्या समझते हैं? स्पष्ट कीजिए।