Sponsor Area

TextBook Solutions for Goa Board of Secondary and Higher Secondary Education Class 10 Hindi क्षितिज भाग २ Chapter 10 स्वयं प्रकाश - नेताजी का चश्मा

Question 1
CBSEENHN100018885

निम्नलिखित गद्यांश के आधार पर पूछे गए प्रश्नों के उत्तर प्रत्येक लगभग 20 शब्दों में लिखिए :
जीप कस्बा छोड़कर आगे बढ़ गई तब भी होलदार साहब इस मूर्ति के बारे में ही सोचते रहे, और अंत में निष्कर्ष पर पहुँचे कि कुल मिलाकर कस्बे के नागरिकों का यह प्रयास सराहनीय ही कहा जाना चाहिए। महत्त्व मूर्ति के रंग या कद का नहीं, उस भावना का है; वरना तो देशभक्ति भी आजकल मज़ाक की चीज़ होती जा रही है।
दूसरी बार जब हालदार साहब उधर से गुजरे तो उन्हें मूर्ति में कुछ अंतर दिखाई दिया। ध्यान से देखा तो पाया कि चश्मा दूसरा है।
(क) हालदार साहब को कस्बे के नागरिकों का कौन-सा प्रयास सराहनीय लगा और क्यों? [2]
(ख) ‘देशभक्ति भी आजकल मजाक की चीज होती जा रही है।’ इस पंक्ति में देश और लोगों की किन स्थितियों की ओर संकेत किया गया है? [2]

(ग) दूसरी बार मूर्ति देखने पर हालदार साहब को उसमें क्या परिवर्तन दिखाई दिया? [1]

Solution
(क) हालदार साहब को कस्बे के नागरिकों के द्वारा नेताजी की मूर्ति का लगाना सराहनीय लगा, क्योंकि इसमें कस्बे वालों की देशभक्ति की भावना दिखाई दे रही थी।
(ख) हालदार साहब को लगा कि कैप्टन जो मूर्ति का चश्मा बदलता रहता था, पान वाले ने उसका मजाक उड़ाया था। नेता जी की प्रतिमा देशभक्ति की परिचायक थी। हालदार साहब को यह कतई पसन्द नहीं था कि प्रतिमा से संबंधित किसी चीज का कोई मजाक उड़ाए। वे बार-बार सोचते कि उस कौम का क्या होगा जो अपने देश की खातिर घर-गृहस्थी, जवानी-जिन्दगी सब कुछ देश पर न्योछावर करने वालों पर हँसती है। उन्हें बहुत खराब लगा कि देश भक्ति भी आजकल मजाक की चीज होती जा रही है।
(ग) दूसरी बार मूर्ति देखने पर हालदार साहब ने देखा कि मूर्ति का चश्मा बदल गया था। साईकिल पर चश्मे बेचने वाला मूर्ति का चश्मा बदल दिया करता था। मोटे फ्रेम वाले चश्मे की जगह तार के फ्रेम वाले चश्मे ने ले ली थी।

Sponsor Area